नई दिल्ली- दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के जीवन के हर उतार चढ़ाव को लेकर बनी डॉक्यूमेंट्री फ़िल्म ”द राइज ऑफ केजरीवाल” के लिए सेंसर बोर्ड प्रमुख पहलाज निहलानी ने इसे मंजूरी देने और प्रसारित करने को लेकर एक अनोखा फरमान जारी किया है इस फिल्म के निर्देशक खुशबू रांका और विनय शुक्ला के अनुसार पहलाज ने उनसे प्रधानमंत्री मोदी का अनापत्ति प्रमाण पत्र(NOC) मांगा है जिससे पहलाज एक बार फिर चर्चाओं में आ गए है।
खुशबू का कहना है कि इस फ़िल्म में केजरीवाल की जिन्दगी से जुड़े हर पहलू को दिखाया जाएगा और ये हिंदी व अंग्रेजी दोनों भाषाओं में प्रसारित होगी। इस फिल्म में केजरीवाल का अन्ना हजारे की ओर से शुरू किया गया ऐंटी करप्शन प्रोटेस्ट में शामिल होना, आम आदमी पार्टी के बनने से लेकर केंद्र से हुए विवाद और फिर केजरीवाल के मुख्यमंत्री बनने तक के सफर को दिखाया गया है।
मुंबई मिरर में छपी खबर के मुताबिक, खुशबू और विनय का कहना है कि सेंसर बोर्ड ने उनसे यह कहा है कि इस डॉक्यूमेंट्री में जितनी भी जगहों पर भाजपा और कांग्रेस के बारे में बात कही गई है उसे पूरी तरह से हटाना होगा।
दोनों ने यह भी बताया कि वह इस डॉक्यूमेंट्री को लेकर पहलाज निहलानी के पास गए थे तो उन्हें बाहर करवा दिया गया था और यह कहा गया था कि वह इस मामले में स्पष्टीकरण देने के लिए बाध्य नहीं हैं।
बता दें कि इस फिल्म को शिप ऑफ थिसिस के डायरेक्टर आनंद गांधी ने इस फिल्म को प्रोड्यूस किया है। इस फिल्म को पिछले साल टोरांटो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में दिखाया जा चुका है। कुछ हफ्तों में इसे सिडनी, न्यू जीलैंड और वॉशिंगटन में भी प्रदर्शित किया जाएगा।